आगरा पुलिस के लिए कैसे कोरोना बम बन गए हैं अपराधी? क्यों अटकी रहती हैं सांसें

Smart News Team, Last updated: Sat, 27th Jun 2020, 8:22 AM IST
  • कोरोना की मार हर कोई झेल रहा है, इसमें पुलिसकर्मी भी शामिल हैं। पुलिस के लिए अपराधी कोरोना बम बन चुके हैं। गिरफ्तारी से लेकर जेल भेजने तक पुलिस की सांसें अटकी रहती हैं।
आगरा के जगदीशपुरा थाना में पदम बिजनेस पार्क में सिंडीकेट बैंक के एटीएम को तोड़कर बदमाशों ने साढ़े छह लाख रुपये की नकदी चोरी कर ली। इस घटना के बाद पुलिस मौके पर पहुंची।

कोरोना की मार हर कोई झेल रहा है, इसमें पुलिसकर्मी भी शामिल हैं। पुलिस के लिए अपराधी कोरोना बम बन चुके हैं। गिरफ्तारी से लेकर जेल भेजने तक पुलिस की सांसें अटकी रहती हैं। अपराधी के जरा सा खांसने या छींकने से पुलिस की दम फूल जाती है। हालांकि, अपराधी की गिरफ्तारी भी जरूरी है। वैसे पुलिस अपराधियों की कोरोना जांच करा रही है।

कोरोना संक्रमण से पहले पुलिस बेहिचक अपराधियों की गिरफ्तारी करती थी। लेकिन अब ट्रेंड बदल गया है। पुलिस किसी भी अपराधी पर हाथ डालने से पहले सौ नहीं बल्कि एक हजार बार सोच रही है। कोरोना काल के दौरान पुलिस के सामने आगरा समेत आसपास के जिलों में कई ऐसे केस सामने आए, जहां अपराधी की गिरफ्तारी के बाद पुलिस को पता चला कि वह कोरोना पॉजिटिव है। इसके बाद महकमे में हड़कंप मचता था।

हाल ही के दिनों में पुलिस के मंडल और राज्य स्तर के अधिकारियों ने जिलों के कप्तानों को दिशा निर्देश जारी किए थे। कहा गया कि अपराधियों की गिरफ्तारी को लेकर सचेत रहें। थोड़ा भी संदिग्ध होने पर गिरफ्तारी के दौरान पूरी सावधानियां रखें। आदेश जारी किया गया कि गिरफ्तार किए गए सभी अपराधियों की कोरोना जांच कराई जाएगी। इसके बाद में ही उसे कोर्ट में पेश और जेल में दाखिल किया जाएगा।

केस 1. लॉकडाउन के दौरान थाना हरीपर्वत पुलिस को सूचना मिली कि शाह मार्केट में एक चोर घटना को अंजाम दे रहा है। इसके बाद पुलिसकर्मी मौके पर जाकर आरोपित चोर को गिरफ्तार करके थाने ले आए। चोर की तबीयत खराब होने पर उसकी जांच कराई गई। रिपोर्ट में चोर कोरोना पॉजिटिव आया। इसके बाद थाने में हड़कंप मच गया। थाना प्रभारी समेत करीब चार पुलिसकर्मियों को क्वारंटाइन किया गया। बाकी स्टाफ की निगरानी की गई।

केस 2. फिरोजाबाद के थाना रामगढ़ में लॉकडाउन उल्लंघन के मामले में पुलिस ने एक आरोपित को हिरासत में लिया था। उसकी अचानक तबीयत खराब हो गई। तेज बुखार आ गया। पुलिस ने उसकी कोरोना जांच कराई। जांच रिपोर्ट आने के बाद थाने में भगदड़ मच गई। रिपोर्ट पॉजिटिव थी। इसके बाद पूरे थाने को क्वारंटाइन किया गया था। कुछ पुलिस वाले भी संक्रमित हुए थे। 27 महिलापुलिस कर्मियों को भी क्वारंटाइन किया गया था।

केस 3. मथुरा में लॉकडाउन के दौरान नगर निगम के कर्मचारियों ने प्रदर्शन किया था। प्रदर्शन में तोड़फोड़ और पथराव हुआ था। मामले में थाना सदर पुलिस ने एक युवक को हिरासत में लिया था। युवक की थाने में तबीयत खराब हुई। उसकी कोरोना जांच रिपोर्ट पॉजिटिव आई थी। इसके बाद मथुरा पुलिस में हड़कंप मचा। थाना सदर के प्रभारी समेत 11 पुलिसकर्मियों को क्वारंटाइन किया गया था। इसके बाद किसी भी अपराधी की गिरफ्तारी को लेकर सख्त नियम बनाए गए थे।

क्या-क्या बरती जा रही सावधानिया

एसएसपी बबलू कुमार ने बताया कि कोरोना संक्रमण का डर सभी को है। चाहे वह आम इंसान हो या पुलिसकर्मी। आम इंसान एक बार बच सकता है। लेकिन पुलिस के सामने कई चुनौतियां हैं। अपराधियों को गिरफ्तार भी करना है। ऐसे में गिरफ्तारी की टीम को अलग से निर्देश जारी किए गए हैं। टीम में सभी को उच्च गुणवत्ता वाले मास्क, हैंड ग्लब्स और सैनेटाइजर प्रदान किए गए हैं।

पीपीई किट पहनना संभव नहीं

एसएसपी ने बताया सभी अपराधियों को दबिश देकर पकड़ना पड़ता है। कभी-कभी तो उनके पीछे दौड़ना भी पड़ता है। इसलिए पीपीई किट पहन कर अपराधियों को पकड़ना संभव नहीं है। हालांकि टीम को निर्देश दिए गए हैं कि जिन कपड़ों को पहन कर अपराधियों की गिरफ्तारी की जा रही है। उन कपड़ों को अपने घर के बाहर ही उतार कर अंदर घुसें। अपने परिवार के लोगों से थोड़ा दूर रहें।

सभी की हो रही है कोरोना जांच

एसएसपी ने बताया कि कोरोना काल के दौरान गिरफ्तार किए जा रहे सभी अपराधियों की कोरोना जांच कराई जा रही है। रिपोर्ट आने के बाद ही उनके खिलाफ आगे की कार्रवाई की जा रही है। उदाहरण के तौर पर किसी अपराधी की रिपोर्ट पॉजिटिव आती है, तो उसे पुलिस सुरक्षा में अस्पताल भेजा जाता है और रिपोर्ट नेगेटिव आने पर कोर्ट में पेश कर जेल भेजा जाता है।

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