जयपुर में बाल-बाल बची 7 लोगों की जान, हटे ही थे कि गिर गई 50 फुट लंबी बालकनी

Smart News Team, Last updated: Tue, 17th Aug 2021, 7:17 PM IST
  • राजधानी जयपुर के जोरावर सिंह गेट के पास मंगलवार की दोपहर को एक बिल्डिंग की दीवार अचानक गिर गई. जिसके चलते बिल्डिंग के नीचे खड़े कुछ वाहन उसके मलबे के चपेट में आने से बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गए है. घटना की सूचना पाकर मौके पर स्थानीय पुलिस और सिविल डिफेंस की टीम वहां पर पहुंच गई है.
जयपुर जोरावर सिंह गेट पास गिरी बिल्डिंग, मलबे में दबे कई वाहन(प्रतीकात्मक फोटो)

जयपुर. जयपुर के आमेर रोड पर एक पुराने मकान की 50 फुट लंबी बालकनी गिरने से 7 लोगों की जान जाते-जाते बची जो मलबा गिरने से दो मिनट पहले ही वहां से हटे थे. बालकनी गिरने से दो कार और एक बाइक दबकर बर्बाद हो गई जिसमें सवार होकर आए लोग बमुश्किल दो से पांच मिनट पहले ही पार्किंग करके गए थे. अगर थोड़ी देर भी हो जाती तो बड़ा हादसा हो सकता था. कई साल पुराने इस जर्जर मकान की मरम्मती के लिए नगर निगम ने मालिक को नोटिस भी जारी कर रखा था लेकिन उस पर कोई एक्शन हुआ नहीं और ये हादसा हो गया.

आमेर रोड पर जोरावर सिंह गेट के पास बने इस मकान के नीचे कई दुकानें हैं. उनमें एक दुकान आज खुली भी थी. जब मकान की बालकनी गिरी तो नीचे दुकान में बैठा दुकानदार रामदयाल और उसके ग्राहक वगैरह घबरा गए. एक प्रत्यक्षदर्शी कल्याण मीणा की तो जान ऊपर वाले ने ही बचा ली. कल्याण बाजार से अपने बेटे के साथ बाइक से लौटा था और बाइक को बालकनी के नीचे ही लगाकर दो मिनट पहले ही गया था. मलबे में रामदयाल की भी बाइक दब गई.

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कल्याण ने बताया कि भगवान ने उसे और उसके बेटे के साथ-साथ एक पड़ोसी से मिलने आए मनोज गुर्जर परिवार के पांच लोगों की जान बचा ली. मनोज ने भी अपनी कार बमुश्किल पांच मिनट पहले गिरी बालकनी के नीचे लगाई थी. मनोज अपनी पत्नी और तीन बच्चियों के साथ यहां आया था. घटना की खबर मिलने पर सिविल डिफेंस की टीम आई और मलबे से कार और बाइकों को निकाला जो बुरी तरह बर्बाद हो गए हैं.

बालकनी गिरने से कल्याण मीणा और उसके बेटे को हल्की चोट भी आई है लेकिन दोनों सुरक्षित हैं. रामदयाल की बाइक पहले से खड़ी थी जबकि कल्याण ने अपनी बाइक बालकनी गिरने से दो मिनट पहले ही लगाई थी. मनोज गुर्जर ने पांच मिनट पहले कार पार्क की थी. संयोग ये रहा कि जिस मकान की बालकनी गिरी वह खाली है और उसमें कोई रहता नहीं था. नहीं तो आज एक बड़ा हादसा हो सकता था.

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