स्वास्थ विभाग के इजाजत के बिना चल रहे अस्पताल ने ली 14 वर्षीय किशोरी की जान

Uttam Kumar, Last updated: Mon, 18th Oct 2021, 3:31 PM IST
  • कुरसौली गांव की रमजानी की 14 वर्षीय पुत्री सबीना कई दिनों से बुखार आने पर कल्याणपुर स्थित वैभव हास्पिटल में भर्ती कराया था. अस्पताल ने चार दिन तक भर्ती रखने के बावजूद डेंगू की जांच तक नहीं कराई. 11 अक्टूबर की देर रात रात बच्ची की मौत हो गई. जिसपर संज्ञान लेते हुए सीएमओ ने जांच के आदेश दिए थे.  जांच के दौरान अस्पताल में न कोई डाक्टर और न ही प्रशिक्षित स्टाफ मिला   
कल्याणपुर क्षेत्र में बिना पंजीकरण के चल रहे निजी अस्पताल ने एक किशोरी की जान ले ली.प्रतिकात्मक फोटो

कानपुर. कल्याणपुर क्षेत्र में बिना पंजीकरण के चल रहे निजी अस्पताल ने एक किशोरी की जान ले ली. कल्याणपुर स्थित वैभव अस्पताल ने चार दिनों तक बुखार पीडि़त किशोरी को भर्ती रखा. राज्य में बढ़ रहे डेंगू की हालत के बावजूद डेंगू की जांच तक नहीं करवाई. किशोरी की हालत खराब होने पर अस्पताल ने किशोरी के परिजनों को दूसरे जगह ले जाने को कह दिया. यहां तक कि किसी तरह का कोई रेफर लेटर भी नहीं दिया. परिवार वालों ने बड़ी मुश्किल से किशोरी को हैलेट अस्पताल के इमरजेंसी में भर्ती कराया. 11 अक्टूबर की देर रात रात बच्ची की मौत हो गई.  

दरअसल कुरसौली गांव निवासी रमजानी की 14 वर्षीय पुत्री सबीना कई दिनों से बुखार से पीड़ित थी. परिवार वालों ने किशोरी को ईलाज के लिए कल्याणपुर स्थित वैभव हास्पिटल में भर्ती कराया था. वैभव हास्पिटल ने किशोरी को चार दिन भर्ती रखा, लेकिन डेंगू तक की जांच नहीं कराई.  जब किशोरी की हालत बिगड़ गई और उसकी नाक से खून आने लगा तो संचालक ने उसे रतनपुर स्थित न्यू सिटी हास्पिटल में भर्ती करने को कहा. वैभव हास्पिटल ने किशोरी को चार दिन तक भर्ती रखने के बावजूद इलाज से जुड़े कोई कागजात भी नहीं दिए. 

कानपुर में महंगाई के खिलाफ समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ताओं का सड़क पर बाइक लिटाकर प्रदर्शन

परिवार वाले किशोरी को लेकर न्यू सिटी हास्पिटल गए लेकिन निजी अस्पताल संचालक ने भर्ती नहीं किया. जिसके बाद परिवार वाले बड़ी मुश्किल से हैलेट में भर्ती कराया. जहां दो घंटे बाद 11 अक्टूबर की देर रात रात किशोरी ने ने दम तोड़ दिया. अस्पताल की मनमानी के चलते किशोरी की मौत को को गंभीरता से लेते हुए सीएमओ ने जांच के आदेश दिए थे. सीएमओ डा. सुबोध प्रकाश यादव और कल्याणपुर सीएचसी के डाक्टर को जांच के लिए भेजा था. जांच में  अस्पताल में न कोई डाक्टर और न ही प्रशिक्षित स्टाफ मिला.  जिसके बाद संचालक को नोटिस जारी किया गया है. 

 

आज का अखबार नहीं पढ़ पाए हैं।हिन्दुस्तान का ePaper पढ़ें |

अन्य खबरें