BJP की जन आशीर्वाद यात्रा आज से शुरू, जनसंवाद संग जातिगत समीकरण साधने की तैयारी

Smart News Team, Last updated: Mon, 16th Aug 2021, 9:24 AM IST
  • बीजेपी लखनऊ से आज जनआशीर्वाद यात्रा की शुरुआत कर रही है. पहले चरण में 4 मंत्री इस यात्रा में शामिल होंगे. इस यात्रा के माध्यम से बीजेपी जनसंवाद के साथ अपना जातिगत समीकरण सुधारने का भी प्रयास कर रही है. जिसको देखते हुए उन वर्ग के 4 मंत्रियों को पहले चरण शामिल किया गया है, जो यूपी की राजनीति में प्रभावी हैं.
बीजेपी की जन आशीर्वाद यात्रा आज से शुरू हो रही है. भाजपा यूपी विधानसभा चुनाव की तैयारी में जुटी है.

लखनऊ. यूपी विधानसभा 2022 मिशन को लेकर बीजेपी ने अपनी तैयारियां शुरू कर दी हैं. लगातार बैठकों के दौर के बीच बीजेपी प्रदेश में आज से जन आशीर्वादयात्रा की शुरुआत करने जा रही है. इस यात्रा के माध्यम से बीजेपी जहां जनसंवाद स्थापित कर जनता की नब्ज टटोलने का काम करेगी. वहीं, दूसरी ओर जातिगत समीकरण साधने का भी प्रयास कर रही है. केंद्रीय मंत्रियों की इस यात्रा में पहले चरण में 4 मंत्री इसकी शुरुआत करेंगे. जिसमें तीन मंत्री मोहनलालगंज सांसद कौशल किशोर, लखीमपुर सांसद अजय मिश्रा और महाराजगंज सांसद पंकज चौधरी लखनऊ से इसकी शुरुआत करेंगे. वहीं, बीएल वर्मा मथुरा से अपनी यात्रा की शुरुआत करेंगे. यात्रा का समापन बदायूं में होगा.

बीजेपी मंत्रियों के माध्यम से सुधारना चाहती अपना जातीय गणित

प्रदेश में बीजेपी सरकार में कई जातियों में असंतोष पैदा हो गया है, जिसे साधने के लिए बीजेपी इस यात्रा में 4 अलग-अलग जाति के मंत्रियों के माध्यम से 'सबका साथ, सबका विकास' नारे को दोबारा भुनाने का प्रयास कर रही है. यात्रा के पहले चरण में कुर्मी जाति से पंकज चौधरी हैं. वहीं, लोधी समाज से आने वाले बीएल वर्मा के माध्यम से पिछड़ों को अपनी ओर करने की तैयारी बीजेपी कर रही है ताकि पिछड़ों की राजनीति करने वाली सपा को मात दी जा सके. 

अगर प्रदेश में लोधी समाज का राजनीति दखल देखें तो वर्तमान में 6 सांसद और 26 विधायक इस वर्ग से हैं. वहीं, प्रदेश के बुंदेलखंड और रुहेलखंड इलाके में यह समाज प्रभावी है. साथ ही बीजेपी की नजर एससी वोटर पर शुरुआत से अधिक रही है क्योंकि इस समाज के वोट मिलने से प्रदेश में बसपा कमजोर होगी जिसका सीधा फायदा बीजेपी को मिलेगा. जिसको देखते हुए पासी समाज से कौशल किशोर को भी आगे किया गया. आंकड़ों बताते हैं कि प्रदेश में एससी समाज में जाटव और चमार के बाद सबसे ज्यादा पासी है.

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अपने नाराज कैडर वोटर पर बीजेपी की नजर

बीजेपी सरकार में सबसे ज्यादा नाराजगी ब्राह्मण समाज की खुलकर सामने आई है. इस समाज को सभी पार्टी अपनी ओर करने का प्रयास कर रही है, जो बीजेपी का कैडर वोटर है. जिसको देखते हुए अजय मिश्रा को पहले चरण में ही आगे किया है, ताकि ब्राह्मण के असंतोष को कम किया जा सके. क्योंकि राजनीति समीकरण की बात करें तो सवर्णों में सबसे अधिक करीब 8 से 10 फीसदी ब्राह्मण है जो प्रदेश की करीब 35 से अधिक विधानसभा सीटों में चुनावी राजनीति तय करते हैं. जिसको बीजेपी किसी अन्य दल में नहीं जाने देना चाहती है.

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