हाथरस गैंगरेप पीड़िता के परिजन नहीं चाहते थे धरना, संगठनों ने की कोशिश: पुलिस
- हाथरस गैंगरेप पीड़िता के परिजन धरने में शामिल नहीं होना चाहते थे लेकिन विभिन्न समूह के लोग उनके पास आए. दिल्ली पुलिस के एडिशनल पीआरओ ने देर रात अपना बयान जारी कर बताया कि पीड़िता के परिवार ने हाथरस प्रशासन से बात की और उन्हीं के साथ निकल गए.
हाथरस. हाथरस गैंगरेप पीड़िता के परिजन किसी तरह के धरने में शामिल नहीं होना चाहते थे लेकिन विभिन्न संगठनों के लोग इकठ्ठा होकर आए और इस मुद्दे को अपने हाथ में लेने की कोशिश शुरू कर दी. मंगलवार देर रात 11 बजे दिल्ली पुलिस के एडिशनल पीआरओ अनिल मित्तल ने बयान जारी किया जिसमें कहा कि हाथरस प्रशासन के एडीएम, एसडीएम और सर्कल ऑफिसर से बात करने के बाद पीड़िता का परिवार उनके साथ हाथरस के लिए निकल गया.
यह मामला चूंकि उत्तर प्रदेश से संबंध रखता है. इसलिए प्रदर्शनकारी यूपी सरकार से आश्वासन चाहते हैं कि मामले में न्याय मिले और आरोपियों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की जाए. इस बात को ध्यान रखते हुए हाथरस के कलेक्टर ने परिवार के सदस्यों से बात कर उन्हें न्याय दिलाने का आश्वासन गिया. इसी के साथ उन्होनें हाथरस आने के लिए कहा तो पीड़िता का परिवार प्रशासन के अधिकारियों के साथ हाथरस के लिए रवाना हो गया.
हाथरस गैंगरेप पीड़िता की मौत के बाद लखनऊ में कांग्रेस और सपा का कैंडल मार्च
14 सितंबर को हाथरस जिले के चंदपा थाना क्षेत्र में 19 साल की दलित लड़की से उसी के गांव के चार युवक संदीप, रामू, लवकुश और रवि ने गैंगरेप की घटना को अंजाम दिया था. बता दें कि युवकों ने दुष्कर्म के बाद बर्बरता से पीड़िता उसकी जीभ काट दी थी और रीढ़ की हड्डी भी तोड़ दी थी.
हाथरस गैंगरेप केस: CM अरविंद केजरीवाल का ट्वीट, कहा- सरकारों के लिए शर्म की बात
पीड़िता को इलाज के लिए पहले अलीगढ़ के जेएन मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया गया था फिर उसे दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में रेफर कर दिया गया था. 29 सितंबर को इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई.
अन्य खबरें
हाथरस गैंगरेप पीड़िता की मौत के बाद लखनऊ में कांग्रेस और सपा का कैंडल मार्च
आधार-राशन कार्ड लिंक कराने की कल 30 सितंबर आखिरी तारीख, घर बैठे ऐसे करे लिंक
मायावती का ऐलान- बिहार चुनाव में उनका गठबंधन जीता तो उपेंद्र कुशवाहा होंगे CM
सीएम योगी के निर्देश- कोविड अस्पतालों में ऑक्सीजन और दवाई का हो पूरा इंतजाम