अमरोहा कांड: फांसी से बचने के लिए शबनम ने फिर लगाई दया याचिका की गुहार

लखनऊ. गुरूवार को आजाद भारत में पहली फांसी की सजा पाने वाले महिला शबनम ने एक बार फिर से दया की गुहार लगाई है. शबनम के वकील ने इसे लेकर उससे मुलाकात की और उनसे मिलने के बाद शबनम से दया याचिका पर हस्ताक्षर कराएं हैं. इस याचिका को जेल प्रशासन राज्यपाल को भेजेगा. 13 साल पहले शबनम ने प्रेमी के साथ मिलकर परिवार के सात लोगों की हत्या की थी जिसके बाद सुनवाई हुई जिसमें उसे दोषी पाया गया है. अब उसके खिलाफ डेथ वारंट कभी भी जारी किया जा सकता है.
मामले पर जानकारी देते हुए रामपुर के जेल अधीक्षक पीडी सलौनिया ने बताया कि दो वकील सुप्रीम कोर्ट से शबनम को मिलने आए थे. इस दौरान उन्होंने शबनम से बात की है. वे अपने साथ दया याचिका भी तैयार करके लाए थे जिस पर शबनम ने हस्ताक्षर कर दिए हैं. अब इस याचिका को जेल प्रशासन राज्यपाल के पास भेजेगा. इससे पहले शबनम के बेटे ने राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को पहली बार दया याचिका भेजी थी लेकिन इस नहीं माना गया था. अब शबनम ने खुद दया याचिका दाखिल की है.
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मामला 2008 का है जब शबनम ने अपने प्रेमी सलीम के साथ मिलकर सात लोगों की हत्या की थी. उन दोनों ने मिलकर परिवार की चाय में जहर मिला दिया था जिसके कारण परिवार के लोगों की मौत हो गई थी इसके अलावा शबनम ने कबूला था कि उसने अपने भांजे की भी गला घोंटकर हत्या की थी.
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