यूपी के थानों में अब नहीं होगा पुलिस का टॉर्चर, हर थाने में लगेंगे 12 से 16 CCTV कैमरे

Indrajeet kumar, Last updated: Fri, 3rd Dec 2021, 11:12 AM IST
  • सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद यूपी के हर थाने में सीसीटीवी लगाए जाएंगे. प्रदेश सरकार ने इसके लिए 300 करोड़ रुपये की राशि की मंजूरी दे दी है. दरअसल पिछले दिनों सुप्रीम कोर्ट ने पुलिस समेत सभी गिरफ्तार करने और पूछताछ करने वाली एजेंसियों के दफ्तरों में सीसीटीवी कैमरे लगाने के आदेश दिए थे.
सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद यूपी के हर थाने में लगेंगे 12 से 16 सीसीटीवी कैमरे

लखनऊ. उत्तर प्रदेश के हर पुलिस थाने में लगभग 12 से 16 सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे. प्रदेश सरकार ने इसके लिए 300 करोड रुपए की राशि को मंजूरी दे दी है. यह फैसला गुरुवार को कैबिनेट में लिया गया. 6 यह सीसी कैमरे सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद लगाए जा रहे हैं. सुप्रीम कोर्ट ने पिछले दिनों गिरफ्तार करने और पूछताछ करने की अधिकार रखने वाली पुलिस समेत सभी एजेंसियों के दफ्तरों में सीसीटीवी कैमरा लगवाए जाने का आदेश दिया. अदालत ने कहा है कि अगर थाने में किसी के साथ बल प्रयोग किया जाता है और वो घायल हो जाता है तो न केवल  एनएचआरसी में बल्कि ह्ययूमैन राइट्स कोर्ट में भी शूकायत कर सकता है. सुप्रीम कोर्ट की तीन सदस्यीय पीठ ने अपने आदेश में सभी राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों को यह सुनिश्चित करने को कहा था कि हर थाने में प्रवेश और निकासी के स्थान पर, मुख्य द्वार, हवालात सभी गलियारों, लोबी, स्वागत कक्ष, और हवालात कक्ष के बाहर के क्षेत्रों में सीसीटीवी कैमरे जरूर लगे होने चाहिए.

गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस रोहिंटन एफ नरीमन की अगुवा‌ई वाली बेंच ने कहा कि सीसीटीवी प्रणाली में नाइट विजन सुविधा के साथ ऑडियो और वीडियो फुटेज रिकॉर्ड रिकॉर्ड करने की सुविधा होनी चाहिए. कोर्ट ने कहा कि मेन गेट समेत सभी लॉकअप में सीसीटीवी कैमरा लगना चाहिए. अदालत ने अपने आदेश में साफ तौर पर कहा यह कि सभी राज्यों और केंद्र शासित राज्यों के प्रधान सचिव, कैबिनेट सचिव या फिर गृह सचिव हलफनामा दायर कर बताएं कि अदालत के आदेश का पालन के लिए क्या एक्शन प्लान लिया गए है और क्या टाइमलाइन है. अदालत ने सभी राज्यों को इसके लिए 6 दिनों की मोहलत दी है.

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अदालत ने अपने आदेश में कहा कि राज्य सरकार बाजार में उपलब्ध सबसे अच्छी क्वालिटी की सीसीटीवी कैमरे लगवाएं. अदालत ने कहा है कि थाने में पुलिस हिरासत के दौरान अगर किसी के ऊपर बल प्रयोग किया जाता है या कोई घायल हो गया हो या फिर फिर कस्टोडियल डेथ का मामला सामने आया हो तो शिकायत किया जा सकता है. ये शिकायत ना केवल एनएचआरसी में बल्कि ह्ययूमैन राइट्स कोर्ट में भी किया जा सकता है. ह्ययूमैन राइट्स कमिशन या ह्ययूमैन राइट्स कोर्ट थाने से सीसीटीवी फूटेज के लिए समन कर सकता है. जांच एजेंसी के लिए सीसीटीवी फूटेज सुरक्षित रखा जाएगा.

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