पुलिसकर्मी का बेटा और फर्जी 'महिला पत्रकार' साथ करते थे ई-रिक्शा चालकों से उगाही
- यूपी के मेरठ में पुलिसकर्मी के रिश्तेदार और नकली पत्रकारों की साठ-गांठ से चल रहे अवैध उगाही के काले धंधे के सच का खुलासा हो गया है. इस मामले में बेहद ही चौंकाने वाली सच सामने आया है.
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मेरठ: यूपी के मेरठ में पुलिसकर्मी के रिश्तेदार और नकली पत्रकारों की साठ-गांठ से चल रहे अवैध उगाही के काले धंधे का सच सबके सामने आ गया है. दरअसल, यहां पर एक महिला पत्रकार ई-रिक्शा चालकों से उगाही करने के लिए पहुंची थीं, इस दौरान महिला ने मीडियाकर्मी पर हमला दिया. पुलिस ने महिला को यूं तो गिरफ्तार कर लिया है. लेकिन इसके साथ ही उसने एक चौंकाने वाली खबर का खुलासा किया. दरअसल, महिला पत्रकार रिटायर्ड एचसीपी के बेटे के कहने पर उगाही करने पहुंची थी. कमिश्नरी चौराहे के आसपास खड़े होने वाले ई-रिक्शा चालकों से पिछले कई दिनों से अक्षय चौधरी नाम का युवक अवैध वसूली कर रहा था.
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वहीं, ई-रिक्शा चालकों ने कई बार इसकी शिकायत अधिकारियों से की. बताया जा रहा है कि सोमवार की सुबह तीन महिलाएं कमिश्नरी चौराहे पर पहुंची. महिलाओं ने खुद को अक्षय का एजेंट बताते हुए रिक्शा चालकों से तीन हजार रुपए महीना की डिमांड शुरू कर दी. इसके बाद ई-रिक्शा चालकों ने महिलाओं को घेरकर हंगामा शुरू कर दिया. मामले की जानकारी मिलने पर कुछ मीडियाकर्मी कवरेज के लिए पहुंचे.
आरोप है कि इसी दौरान प्रियंका त्रिपाठी नाम की महिला खुद को पत्रकार बताते हुए कवरेज कर रहे पत्रकारों से उलझ गई. इतना ही नहीं,
फोटो खींचने से बौखलाई महिला ने एक मीडियाकर्मी का कैमरा छीन और उस पर थप्पड़ बरसाने लगी.
जिसके बाद वहां पर हंगामा शुरू हो गया. पुलिस ने तीनों महिलाओं को गिरफ्तार कर लिया और सिवल लाइन थाने ले आई. स्पेक्टर अब्दुर
रहमान सिद्दीकी ने बताया कि महिलाओं से पूछताछ के दौरान जानकारी मिली कि उन्हें भेजने वाला अक्षय चौधरी यूपी पुलिस के रिटायर्ड एचसीपी का बेटा है. जो फिलहाल फरार है, अक्षय की तलाश पुलिस कर रही है.
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