मातृत्व लाभ बिचौलिया घोटाले में आरोपी लेखपाल पर पुलिस का शिकंजा, दर्ज एक और FIR
- मुजफ्फरपुर के मुशहरी सीएचसी में महिलाओं की प्रसव प्रोत्साहन राशि में एक बड़ा खेल चल रहा था. इस मातृत्व लाभ बिचौलिया घोटाले में सीएचसी के लेखपाल अवधेश कुमार के खिलाफ एफआईआर की गई थी. लेकिन जांच में सहयोग नहीं करने और फरार हो जाने के कारण लेखपाल पर दूसरी एफआईआर भी होगी.

मुज्जफरपुर. मुज्जफरपुर में मातृत्व लाभ बिचौलिया घोटाले के आरोपी मुसहरी सीएचसी के लेखपाल अवधेश कुमार पर अब दूसरी अब दूसरी एफआईआर होगी. लेखपाल पर यह दूसरी एफआईआर घोटाले की जांच में सहयोग नहीं करने और सीएचसी से संबंधित फाइलों को अलमारी में बंद कर चले जाने के आरोप में होगी.
जांच टीम के सदस्यों ने बताया कि जब सीएचसी में टीम जांच करने पहुंची तो वहां प्रोत्साहन राशि से संबंधित फाइलें नहीं मिली. इसके अतिरिक्त मामले के सामने आने के बाद ही लेखपाल फरार हो गया है. इससे छानबीन करने आई टीम को परेशानी भी हुई.
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टीम के अनुसार लेखपाल के पास जो फाइलें हैं उनमें छेड़छाड़ होने की आशंका है. टीम को जांच के लिए लेबर रूम रजिस्टर, इमरजेंसी रजिस्टर, पेमेंट शीट सहित प्रसव प्रोत्साहन राशि से जुड़ी सभी फाइलों की छानबीन करनी थीं. लेकिन शुक्रवार को उन्हें सिर्फ लेबर रूम रजिस्टर भी उपलब्ध कराया गया. जांच करने आई टीम को बताया गया कि सभी फाइलें लेखपाल की निगरानी में ही रहती हैं और वे उन्हें अलमारी में बंद कर रखते हैं.
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जांच टीम के वरिष्ठ सदस्य ने बताया कि लेखपाल का फरार होना ही गड़बड़ी को साबित कर रहा है. इसके अलावा अधिकारियों का कहना है कि टीम के हाथ अब तक जो भी फाइलें लगी है, उससे यह तो साफ है कि प्रोत्साहन राशि में गड़बड़ी की गई है. जांच टीम के अनुसार लेखपाल इस घोटाले की जांच में अहम जरिया साबित हो सकता है क्योंकि उसके जरिए इस फर्जीवाड़े में शामिल बड़े अधिकारियों को भी पकड़ा जा सकता है.
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इसके अलावा टीम महिलाओं के खाते से ट्रांजेक्शन की भी जांच करेगी. जाँच टीम ने उन महिलाओं के बयान भी दर्ज किए हैं जिनके नाम से प्रसव प्रोत्साहन राशि में घोटाला किया गया. एक बुजुर्ग महिला का कहना है कि उनके खाते में कब पैसा आया और कब चला गया, इसके बारे में उन्हें कुछ भी पता नहीं. टीम ने जिन भी महिलाओं से बात की उन्होंने कहा कि उन्होंने अपने खाते से एक भी पैसा नहीं निकाला है. इनके बयान दर्ज होने के बाद टीम अब इस दिशा में भी जांच कर रही है कि इन महिलाओं के अकाउंट में राशि कहां से भेजी गई और इसके बाद किन के अकाउंट में उन्हें ट्रांसफर कर दिया. जांच टीम अब यह जानकारी इकट्ठी करने की कोशिश कर रही है कि कहीं इन महिलाओं को जरिया बनाकर बिचौलियों ने कोई बड़ा खेल तो नहीं किया है. इसके लिए टीम ने बैंक से सभी प्रसव प्रोत्साहन राशि के लाभार्थियों के खाते की जानकारी मांगी है.
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