बिहार में ये समिति चलाएगी पंचायत व्यवस्था, नहीं बढ़ेगा प्रतिनिधियों का कार्यकाल

Smart News Team, Last updated: Tue, 1st Jun 2021, 6:36 PM IST
  • बिहार में 15 जून को पंचायत प्रतिनिधियों का कार्यकाल खत्म होने के बाद ग्राम पंचायत का कामकाज परामर्श समिति करेगी. नीतीश सरकार ने ग्राम पंचायतों के लिए परामर्श समिति के गठन का फैसला लिया है. इसके लिए सरकार पंचायती राज अधिनियम में संशोधन करेगी.
पंचायतों के लिए परामर्श समिति के गठन को नीतीश कैबिनेट की मीटिंग में मंजूरी मिली.

पटना. बिहार में पंचायत चुनाव टलने के बाद 15 जून को प्रदेश के लगभग ढाई लाख पंचायत प्रतिनिधियों का कार्यकाल पूरा हो जाएगा. पंचायत प्रतिनिधियों के कार्यकाल को बढ़ाने की मांग के बीच नीतीश सरकार ने परामर्श समिति गठन करने का फैसला लिया है. ये समिति गांवों के कामकाज को देखेगी. नीतीश सरकार की अध्यक्षता में मंगलवार को कैबिनेट मीटिंग में इस प्रस्ताव को मंजूरी दी गई.

नीतीश सरकार के इस फैसले के तहत ग्राम पंचायतों में परामर्श समिति का गठन किया जाएगा. ये परामर्श समिति कैसी होगी? इसमें कौन-कौन शामिल होंगे. इसको लेकर बिहार सरकार अलग से आदेश जारी करेगी. मिली जानकारी के मुताबिक, बिहार सरकार इस समिति के लिए पंचायती राज अधिनियम में संशोधन करेगी. जिससे जनप्रतिनिधियों को कुछ अधिकार दिए जाएंगे.

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आपको बता दें कि नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव और बिहार के पूर्व सीएम जीतनराम मांझी ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मांग की थी कि बिहार ग्राम पंचायतों के जन प्रतिनिधियों के कार्यकाल को बढ़ाया जाए. माना जा रहा था कि नीतीश सरकार ग्राम पंचायतों में अधिकारियों को प्रशासक नियुक्त कर सकती है. इसके उलट नीतीश सरकार ने गांव के कामकाज के लिए बिहार के इतिहास में पहली बार परामर्श समिति के गठन का फैसला लिया है.

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मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में मंगलवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए कैबिनेट बैठक हुई. जिसमें कैबिनेट ने परामर्श समिति समेत 19 प्रस्तावों को मंजूरी दी है. जिसमें मुख्यमंत्री तीव्र बीज विस्तार योजना, एकीकृत बीज ग्राम योजना और मिनीकिट योजना शामिल है. इसके अलावा नीतीश कैबिनेट ने कोरोना संक्रमण की वजह से अनाथ हुए बच्चों को हर महीने 1500 रुपए देने का फैसला किया है.

 

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