11 जुलाई से शुरू हो रहे हैं गुप्त नवरात्रि, जानें कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त

Smart News Team, Last updated: Sun, 4th Jul 2021, 10:09 PM IST
इस साल के गुप्त नवरात्रि का आरंभ 11 जुलाई 2021 से होगा जो कि 18 जुलाई तक समाप्त होंगे. इस बार नवरात्रि में माता गज यानी हाथी पर आ रही हैं उनके आगमन से बारिश के आसार होंगे. आइए जानते हैं कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त.
11 जुलाई दिन रविवार से ग्रीष्मकालीन गुप्त नवरात्र का आरंभ होगा

पटना. हिंदू धर्म में गुप्त नवरात्रि का विशेष महत्व होता है। बता दें कि 11 जुलाई दिन रविवार से ग्रीष्मकालीन गुप्त नवरात्र का आरंभ होगा। इस गुप्त नवरात्र में पंचमी तिथि के क्षय होने से नौ दिनों तक माता के विभिन्न रूपों की पूजा की जाएगी साथ ही इस दौरान श्रद्धालु व्रत रख कर माता की आराधना करते हैं। धर्मशास्त्र के जानकारों ने बाते कि इस नवरात्र में माता गज यानी हाथी पर आ रही हैं उनके आगमन से बारिश के आसार होंगे। नता दें कि इस नवरात्र में मां कामाख्या की पूजन-अर्चन विशेष तौर पर की जाती है।

भारतीय ज्योतिष विज्ञान परिषद के सदस्य आचार्य पंडित राकेश झा बताते हैं कि आषाढ़ मास के देवता इंद्र और महाकाली हैं। यह मास प्रकृति को अपने गोद में लिये हुए है। इसीलिये इस मास में बारिश के आसार रहते हैं। ऋतु संधि में अनेक प्रकार की बीमारियों का प्रकोप बढ़ने के कारण इनसे बचाव हेतु आषाढ़ मास में शक्ति पूजन की प्राचीन परम्परा है। इतना ही नहीं गुप्त नवरात्र की शुरुआत और समापन पर अति शुभकारी सर्वार्थ सिद्धि योग बन रहे हैं। इस नवरात्र में पूजा की शुरुआत आर्द्रा नक्षत्र में होने से योग और उत्तम हो गया है। इस महायोग में दुर्गा सप्तशती का पाठ करना अत्यंत कल्याणकारी होगा। नवरात्र में दुर्गा सप्तशती, देवी के विशिष्ट मंत्र का जाप, दुर्गा कवच, दुर्गा शतनाम का पाठ प्रतिदिन करने से रोग-शोक आदि का नाश होता है।

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पंडित झा ने बताया कि देवी मां का पूजन, हवन, वेदपाठ के उच्चारण से कष्टकारी ग्रह शनि, राहु और केतु से पीड़ित श्रद्धालुओं को लाभ होता है। दुर्लभ शक्तियों की प्राप्ति के लिये साधक महाकाली, तारा, भुवनेश्वरी, त्रिपुरसुंदरी, छिन्मस्तिका, भैरवी, बगलामुखी, माता कमला, मातंगी देवी की साधना करते हैं। इस साल के गुप्त नवरात्रि में घरों एवं मंदिरो में कलश की स्थापना तथा शक्ति का पूजन होगा। इस बार कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त कुछ ऐसे होगा।

चर मुहूर्त: प्रातः 06:39 बजे से 08:31 बजे तक

लाभ मुहूर्त: सुबह 08:31 बजे से 10:13 बजे तक

अमृत मुहूर्त: सुबह 10:13 बजे से 11:55 बजे तक

अभिजीत मुहूर्त:- दोपहर 11:28 बजे से 12:22 बजे तक

 

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