बिहार पुलिस को निर्देश, SP खुद करें बड़ी आपराधिक घटनाओं की जांच का नेतृत्व
- बिहार में आपराधिक घटनाओं को रोकने को लेकर बिहार पुलिस मुख्यालय ने विभाग के आला अधिकारियों को सख्त निर्देश जारी किए हैं. अब जिलों में बड़ी आपराधिक घटनाओं व पुलिस पर हमला होने वाले मामलों में जिले के एसपी और एसएसपी खुद घटनास्थल पर जाकर जायजा लेंगे और अपराधियों की गिरफ्तारी के लिए टास्क देंगे.

पटना. बिहार में आपराधिक घटनाओं पर रोक लगाने के लिए लगातार बिहार पुलिस नई नीति बनाकर उनपर काम कर रही है ताकि प्रदेश में अपराध के ग्राफ को कम किया जा सके. इस संबंध में बिहार मुख्यालय ने राज्य के पुलिस अधिकारियों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग कर आपराधिक घटनाओं पर रोक लगाने के लिए जिले के एसपी, एसएसपी समेत उच्च अधिकारियों के लिए सख्त निर्देश जारी किए हैं. अब जिले के एसपी, एसएसपी जिले में होने वाली आपराधिक घटनाओं की सिर्फ मॉनिटरिंग नहीं करेंगे, बल्कि वो खुद ऐसी घटनाओं पर मौके पर पहुंच पूरे मामले का जायजा लेंगे. साथ ही मुख्यालय ने यह भी निर्देश दिए कि अब अपराधियों की गिरफ्तारी के लिए एसपी, एसएसपी अपने अधीनस्थ अधिकारियों को टास्क देंगे, ताकि जल्द से जल्द अपराधियों की गिरफ्तारी हो सके. जरूरी होने पर रेंज के आईजी और डीआईजी भी घटनास्थल पर जाएंगे.
पुलिस पर हमला की घटना पर गंभीरता से हो कार्रवाई
बिहार पुलिस मुख्यालय के निर्देश अनुसार, अब पुलिस पर होने वाले हमलों को जिले के वरिष्ठ अधिकारी गंभीरता से लेकर उस पर जांच करेंगे. वो खुद घटनास्थल पर जाकर घटना की जानकारी लेंगे. अधिकारी घटना की वजह जानने के साथ इस मामले में जिम्मेदार अपराधियों को गिरफ्तार करने को लेकर अपने अधीनस्थ अधिकारियों को टास्क सौपेंगे. ऐसे मामलों में अब किसी भी सूरत में आरोपी को छोड़ा नहीं जाएगा.
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इन मामलों में स्पीड ट्रायल का होगा अनुरोध
बड़ी अपराधिक घटनाओं के साथ पुलिस पर हमले के मामलों में जल्द जांच पूरी करके सभी सबूत इकट्ठा करके आरोप पत्र कोर्ट में जमा करें, जिसके बाद ऐसे मामलों को लेकर कोर्ट में स्पीड ट्रायल के लिए अनुरोध किया जाएगा. वहीं, ऐस मामलों पर जरूरी होने पर जिले के एसपी, एसएसपी के साथ घटनास्थल पर रेंज के आईजी और डीआईजी भी जाएंगे.
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बड़े अधिकारियों के रहने से अधीनस्थ अधिकारी रहेंगे मुस्तैद
यदि बड़े आपराधिक मामलों में खुद जिले के बड़े अधिकारी मौजूद रहेंगे तो ऐसी घटनाओं की जांच में किसी भी तरह की कोई लापरवाही नहीं हो सकेगी. वहीं, बड़े अधिकारियों की मौजूदगी की वजह से अधीनस्थ अधिकारी मुस्तैदी से घटना की जांच भी करेंगे.
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