राजगीर जू सफारी पर्यटकों के लिए खुला, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने किया शुभारंभ
- बिहार के नालंदा जिले में राजगीर जू सफारी का शुभारंभ हो गया है. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 177 करोड़ की लागत से निर्मित राजगीर वण्यप्राणी सफारी का लोकार्पण किया. इसके साथ ही इस जू सफारी में घूमने के लिए ऑनलाइन टिकट की भी शुरुआत हो गई है. यहां दर्शक शेर और बाघ समेत अन्य वन्य प्राणियों को खुले वातावरण में घूमते हुए बंद गाड़ियों में बैठकर देख सकते हैं

पटना. बिहार के नालंदा जिले में राजगीर जू सफारी का शुभारंभ हो गया है. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 177 करोड़ की लागत से निर्मित राजगीर वण्यप्राणी सफारी का लोकार्पण किया. इसके साथ ही इस जू सफारी में घूमने के लिए ऑनलाइन टिकट की भी शुरुआत हो गई है. यहां दर्शक शेर और बाघ समेत अन्य वन्य प्राणियों को खुले वातावरण में घूमते हुए बंद गाड़ियों में बैठकर देख सकते हैं. इस जू सफारी निर्माण की स्वीकृति सरकार ने 6 अगस्त 2015 को दी थी. 191.2 हेक्टेयर में फैले जू सफारी परिसर के दो भवनों में रोमांच से भरपूर इंटरप्रिटेशन सेंटर, म्यूजियम, वाटरफ्लाई पार्क, एम्फीथियेटर, बर्ड एवियरी, ऑडिटोरियम, ओरिएंटल सेंटर बनाए गए हैं. जबकि, जंगली क्षेत्र के खुले भाग में दहाड़ मारते बाघ, शेर, चीता, भालू, बार्किंग डियर व अन्य खुंखार वन्यजीव होंगे. इन नजारों को देखने के लिए सैलानी के लिए बख्तरबंद गाड़ी का इंतजाम किया गया है. जू सफारी में विचरण कर रहे जानवरों को दूर से देखने के लिए वैभव गिरी पर्वत पर माइक्रो टेलीस्कोप लगाए जाएंगे.
पटना के चिड़ियाघर से 35 जानवर राजगीर जू सफारी में भेजे गए हैं. जिनमें पश्चिम बंगाल के चिड़ियाघर और गुजरात के चिड़ियाघर से बाघ और बब्बर शेर लाकर छोड़े गए हैं. 112.80 हेक्टेयर में पांच वन्यजीवों बियर, लियोपार्ड, टाइगर, लॉयन व हर्बीवोर सफारियां हैं. 7.87 हेक्टेयर में रिसेप्शन एंड ओरिएंटेशन जोन, 2.32 हेक्टेयर में पार्किंग, 3.13 में एवियरी एंड बटर फ्लाई जोन, 4.0 में मैनेजमेंट जोन, 61 हेक्टेयर में ग्रीन जोन होगा. स्काई जोन में पैगोडा, वाच टॉवर, नेचर कैम्प व वाकिंग ट्रेल होगा.
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इस राजगीर जू सफारी में सांभर 8, हॉग डियर 8, भौंकने वाला हिरण - 8, ब्लैक बक 4, तेंदुआ 2, भालू 2, बाघ 2 और शेर की संख्या 6 हैं.साथ ही पर्यटकों के लिए प्रतीक्षालय और चाय-नाश्ते के लिए रेस्टोरेंट की सुविधा भी उपलब्ध है. इसके अलावा जू सफारी में उच्चस्तरीय जानवरों का अस्पताल भी बनाया गया है. यहां अगर किसी जानवर की तबीयत खराब होती है तो जल्द ही उसका इलाज किया जा सकेगा.
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि यह जू सफारी पूर्वोत्तर भारत का पहला सबसे आधुनिक जू सफारी है. यहां तितली घर का भी निर्माण किया गया है. इसे स्वर्णगिरि व वैभरगिरि के बीच बनाया है. यहां आने वाले पर्यटक नेचर सफारी के बाद इसका भी आंनद उठा सकेगें. उन्होंने कहा कि इसके साथ ही घोड़ा कटोरा, विश्वशांति स्तूप जैसे कई ऐतिहासिक धरोहरों का अवलोकन कर सकते है. यहां के पंच पहाड़ियों के बीच आने से मन को अलग शांति मिलती है.सीएम ने कहा कि राजगीर वण्यप्राणी सफारी का मकसद यही है कि युवा पीढ़ी को तमाम चीजों का एहसास हो. युवा जब यहां घूमने आएं तो उन्हें वो तमाम सुविधाएं मिले, जिसके लिए वह बाहर जाते हैं. मुख्यमंत्री ने कहा कि अब लोगों को कहीं बाहर जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी. इस जू सफारी के शुरू होने से न केवल राजगीर और बिहार को लाभ होगा, बल्कि देश में भी पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा.
तमिलनाडू व महाराष्ट्र से आएंगे अन्य वन्य प्राणी
जू सफारी के लिए 6 शेर उपलब्ध कराये गए हैं. यहां कई अन्य वन्य प्राणियों को लाने के लिए तमिलनाडु एवं महाराष्ट्र से संपर्क किया जा रहा है. राजगीर जू सफारी के अंदर जितने तरह की जीव हैं, उनकी देख-रेख व भोजन से लेकर चिकित्सा की उत्तम व्यवस्था की गयी है। जू सफारी का आनंद लेने वाले लोगों के लिए वर्तमान समय में 20 वाहनों की खरीदारी की गयी है, जिसमें बैठकर लोग वन्य प्राणियों को नजदीक से देख सकेंगे.
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