पटना : फर्जी RT-PCR टेस्ट करने वाले गिरोह का हुआ खुलासा, आरोपियों पर FIR दर्ज
- पटना के शास्त्रीनगर इलाके में गुरुवार को अवैध तरिके से चल रहे प्लाज्मा डायग्नोस्टिक सेंटर में RT-PCR टेस्ट के नाम पर मोटी रकम वसूल कर नकली रिपोर्ट देते थे. भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण की शिकायत पर शख्त रूख दिखाते हुए जिला प्रशासन ने आरोपियों पर कई संगीन धाराओं में FIR दर्ज कर कार्यवाही कर रही है.
पटना. बिहार की राजधानी पटना के शास्त्रीनगर थाने के अंतर्गत गुरुवार को फर्जी कोविड -19 टेस्ट रिपोर्ट जारी करने वाले प्लाज्मा डायग्नोस्टिक लैब का खुलासा हो गया है. भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण (AAI) के शिकायत के बाद जिला प्रशासन ने सख्ती दिखाते हुए संबंधित लैब में छापेमारी किया. लैब से बड़ी संख्या में नकली RT-PCR टेस्ट रिपोर्ट बरामद किए गए हैं. अवैध तरिके से मनमानी रकम लेकर जल्द से जल्द कोविड-19 टेस्ट करने वाले लैब को प्रसाशन ने फिलहाल सीज की कर दिया है. स्टेशन हाउस ऑफिसर (एसएचओ) शास्त्रीनगर रमाशंकर ने बताया कि अभी तक इस मामले में 4 लैब कर्मचारियों को गिरफ्तार किया है. अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ अविनाश कुमार सिंह के बयान के पर भारतीय दंड संहिता की धारा 419 , 420 , 465, 468 , 469 , 471 और 336 के तहत लैब मालिक और उसमें काम करने वाले कर्मियों के खिलाफ FIR दर्ज किया गया है.
बुधवार देर रात शास्त्रीनगर इलाके के राजा बाजार में स्थित प्लाज्मा डायग्नोस्टिक सेंटर द्वारा जारी RT-PCR रिपोर्ट के एएआई अधिकारियों ने एयरपोर्ट पर पहुंचें एक व्यक्ति के रिपोर्ट को संदेह में लेकर जिला प्रशासन से शिकायत की. जिला प्रशासन की प्रारंभिक जांच में पता चला कि गया कि प्लाज्मा डायग्नोस्टिक सेंटर, क्लिनिकल एस्टैब्लिशमेंट एक्ट के तहत पंजीकृत नहीं है. यह डायग्नोस्टिक सेंटर हवाई यात्रा करने के लिए यात्रियों को जल्दीबाजी में फर्जी RT-PCR रिपोर्ट मुहैया कराकर उससे 1,500 से 2,500 रूपए तक की रकम वसूलता था.
गौरतलब है कि नागरिक उड्डयन विभाग ने अपने गाइडलाइन के जरिए देश-विदेश में हवाई यात्रा करने के लिए RT-PCR टेस्ट रिपोर्ट का निगेटिव होना अनिवार्य किया है. इस मामले में जयप्रकाश नारायण अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट निदेशक भूपेश नेगी ने पटना के जिला जिलाधिकारी चंद्रशेखर सिंह को पत्र के जरिए फर्जी RT-PCR टेस्ट की सूचना दे दी है. डीएम पटना ने इस धोखाधड़ी में शामिल लोगों की पहचान कर उन्हें गिरफ्तार करने के लिए एक टीम बनाई है. जांच अधिकारियों ने बताया कि लैब की छापेमारी के दौरान कई आधार, पासपोर्ट और अन्य राज्यों के लोगों के नाम वाले पैन कार्ड जैसे फर्जी पहचान प्रमाण की प्रतियां भी बरामद की गईं. एसएचओ ने बताया कि अब तक, बिना क्यूआर कोड के विभिन्न प्रयोगशालाओं के नाम से जारी लगभग 25 ऐसी फर्जी रिपोर्टें बरामद की हैं इसके आलावा डायग्नोस्टिक सेंटर से तीन अलग-अलग लैब की कई रिपोर्ट और पैसे की रसीद भी बरामद की गई है. अधिकारियों ने कहा कि मामले की जांच जारी है आरोपी जल्द से सलाखो के पीछे होंगें.
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