पटना के सिविल सर्जन के नाम दो प्रमाणपत्र हुए जारी, 5 बार कोरोना टीका लेने की खबर से मचा हड़कंप

Uttam Kumar, Last updated: Mon, 17th Jan 2022, 12:18 PM IST
  •  84 वर्ष के बुजुर्ग द्वारा कोरोना वैकशीन लेने के दावे के बाद अब पटना के सिविल सर्जन डॉ. विभा कुमारी के नाम से कोविन पोर्टल पर दो सर्टिफिकेट मिला है. दोनों सर्टिफिकेट को मिलाकर कुल पांच डोज कोरोना वैकशीन लेने का आरोप है. हालांकि सिविल सर्जन ने पूरे मामले को बेबुनियाद बताया है. 
कोरोना वैक्सीन.(प्रतीकात्मक फोटो)

पटना: बिहार में कोरोना टीकाकरण से जुड़े अजीबोगरीब मामले सामने आ रहे हैं. कुछ दिन पहले एक 84 वर्षीय बुजुर्ग ने 12 डोज लेने का दावा किया था. इस बार पटना की सिविल सर्जन डॉ. विभा सिंह के नाम से पांच बार टीका लेने का मामला सामने आया है. कोविन पोर्टल पर सिविल सर्जन के नाम से पांच टीकों के लिए के दो सर्टिफिकेट भी जारी हुए हैं. सूचना मिलते ही प्रशासन और स्वास्थ्य महकमे में खलबली मच गई है. हालांकि पटना डीएम ने इस मामले में सविल सर्जन से जानकारी मांगी तो उन्होंने इसे बेबुनियाद बताया है. 

सोशल मीडिया पर पांच डोज लेने की खबर वायरल होने पर सिविल सर्जन डॉ. विभा सिंह ने इस मामले पर सफाई देते हुए कहा कि एक डॉक्टर की तो छोड़ दें किसी भी स्तर का स्वास्थ्यकर्मी इस तरह का काम नहीं कर सकता. किसी ने जानबूझकर उन्हें बदनाम करने की साजिश रची है. यह गड़बड़ी कैसे हुई, इसकी जांच की जाएगी. जो भी इसके लिए दोषी पाए जाएंगे, उसपर कड़ी कार्रवाई की जाएगी. उन्होंने इस खबर को फैलाने के पीछे कार्यालय के किसी कर्मी के हाथ होने के दावे से इंकार नहीं किया. 

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सिविल सर्जन के अनुसार किसी ने बदनाम करने कके लिए कोविन पोर्टल की तकनीकी खामियों का फायदा उठाकर यह शरारत की है. इसका झूठा सर्टिफिकेट भी कोविन पोर्टल पर अपलोड कर दिया गया है लेकिन उन्होंने कोविन पोर्टल पर वैक्सीन लेने के साथ पैन कार्ड की कॉपी अपलोड होने की बात को समझ से परे बताया है. सिविल सर्जन ने कहा कि शुरुआती दौर में जब 28 दिन का अंतर दो डोज के बीच में लेना अनिवार्य था तो ऐसे में कोई आठ दिन में कैसे यह डोज ले सकता है। उन्होंने अन्य लोगों से भी भारत सरकार के गाइडलाइन के मुताबिक ही कोरोना टीके का डोज लेने की अपील की. 

जिला टीकाकरण पदाधिकारी डॉ. एसपी विनायक के अनुसार कोविन पोर्टल पर किसी भी व्यक्ति के दस्तावेज का इस्तेमाल कर फर्जी प्रमाणपत्र निकाला जा सकता है. अगर किसी के पास किसी व्यक्ति का पैन कार्ड या आधार नंबर हो तो कोई भी मोबाइल नंबर पर ओटीपी मंगाकर रजिस्ट्रेशन कर सकता है. उसके आधार पर कोई दूसरा टीका लेकर प्रमाणपत्र भी अपने मोबाइल नंबर पर मंगा सकता है. सिविल सर्जन का दो-दो प्रमाणपत्र किस नंबर पर मंगाया गया यह जांच किया जाएगा.  

 

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