पारस को मोदी कैबिनेट में जगह मिलने के बाद दिल्ली HC में चिराग पासवान की याचिका

Smart News Team, Last updated: Wed, 7th Jul 2021, 6:17 PM IST
  • चिराग पासवान ने बुधवार को दिल्ली हाईकोर्ट में लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला के फैसले के खिलाफ याचिका दायर की है. साथ ही उन्होंने पशुपति पारस को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कैबिनेट में जगह देने पर आपत्ति भी दर्ज की है.
लोकसभा अध्यक्ष के फैसले के खिलाफ दिल्ली हाईकोर्ट पहुंचे चिराग, दायर की याचिका

पटना. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कैबिनेट विस्तार में लोजपा पर अपना दावा ठोककर संसदीय दल के नेता वाले पशुपति पारस केंद्रीय मंत्री बनने जा दे हैं जिसको लेकर एलजेपी के दूसरे गुट के चिराग पासवान ने कड़ी आपत्ति दर्ज करते हुए दिल्ली हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है. चिराग ने कोर्ट में  लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला के उस फैसले को चुनैती दी है जिसमें उन्होंने पारस को संसदीय दल के नेता बनने की अनुमति दी थी. 

दिल्ली हाईकोर्ट में लोकसभा अध्यक्ष के फैसले के खिलाफ याचिका दायर करने की जानकरी चिराग ने ट्वीट कर दी. उन्होंने लिखा कि लोक जनशक्ति पार्टी ने आज माननीय लोकसभा अध्यक्ष के प्रारम्भिक फ़ैसले जिसमें पार्टी से निष्कासित सांसद श्री पशुपति पारस जी को लोजपा का नेता सदन माना था के फ़ैसले के ख़िलाफ़ आज दिल्ली उच्च न्यायालय में याचिका दाखिल की गई है.

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चिराग ने आगे लिखा कि प्रधानमंत्री जी के इस अधिकार का पूर्ण सम्मान है कि वे अपनी टीम में किसे शामिल करते हैं और किसे नहीं. लेकिन जहां तक LJP का सवाल है तो पारस जी हमारे दल के सदस्य नहीं हैं. पार्टी को तोड़ने जैसे कार्यों को देखते हुए उन्हें मंत्री, उनके गुट से बनाया जाए तो LJP का कोई लेना देना नहीं है.

इसके साथ ही चिराग पासवान ने पशुपति पारस को केंद्रीय मंत्रिमंडल में शामिल करने पर आपत्ति जताते हुआ कहा कि पार्टी विरोधी और शीर्ष नेतृत्व को धोखा देने के कारण लोक जनशक्ति पार्टी से श्री पशुपति कुमार पारस जी को पहले ही पार्टी से निष्काषित किया जा चुका है और अब उन्हें केंद्रीय मंत्री मंडल में शामिल करने पर पार्टी कड़ा ऐतराज दर्ज कराती है.

इससे पहले चिराग पासवान ने मंगलवार को पत्रकारों से बात करते हुए कहा था कि अगर लोजपा के बागियों में कोई मंत्री बनाया जाता है तो मैं जरूर आपत्ति करूंगा और मुझे कानूनी रास्ता अख्तियार करना पड़ सकता है. अगर कोई निर्दलीय या किसी और पार्टी से मंत्री बनाया जाता है तो मुझे कोई दिक्कत नहीं है क्योंकि वो उनका मसला है. जहां तक लोजपा का सवाल है, पार्टी संविधान के हिसाब से मैं अध्यक्ष हूं और मामला चुनाव आयोग और लोकसभा स्पीकर के पास है.

बता दें कि चिराग पासवान ने लोजपा के पशुपति पारस का चार सांसदों के साथ अपना गुट बनाए जाने के बाद लोकसभा अध्यक्ष के सामने एलजेपी का सदन में नेता नहीं मानने कि गुहार लगाई थी. उसके बावजूद लोकसभा अध्यक्ष ने पशुपति पारस को लोजपा का नेता सदन माना है. जिसके बाद चिराग पासवान ने दिल्ली हाईकोर्ट में इस फैसले के खिलाफ याचिका दायर की हैं. साथ ही जल्द सुनवाई की मांग भी है. जिसको लेकर कोर्ट 9 जुलाई को इसपर सुनवाई कर सकता है.

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