पटना: नैक का स्तर गिरने पर विधायक ललित यादव ने केबिनेट मंत्री पर साधा निशाना
- पटना में विधान सभा में बजट सत्र के 13वें दिन राजद के विधायक ललित यादव ने नैक का स्तर गिरने की वजह जानने के लिए केबिनेट मंत्री से सवाल करते हुए एनडीए सरकार कैबिनेट मंत्री विजय चौधरी पर निशाना साधा.
पटना। बिहार में लगभग सभी विश्विद्यालयों और महाविद्यालयों के नैक के स्तर को मानक से नीचे होने का मामला सामने आया है. जिसके चलते मंगलवार को विधानसभा में बजट सत्र के 13वें दिन राष्ट्रीय जनता दल के विधायक ललित यादव ने नैक का स्तर गिरने की वजह जानने के लिए केबिनेट मंत्री से सवाल करते हुए एनडीए सरकार पर निशाना साधा.
विधान सभा में बजट सत्र के 13वें दिन राजद (राष्ट्रिय जनता दल) के विधायक ललित यादव ने बिहार के कैबिनेट मंत्री विजय चौधरी से सवाल पूछते हुए कहा कि क्यों नैक के मानक में न्यूनतम से नीचे गिरावट होने के कारण बिहार के विश्वविधालय को UGC और केंद्र सरकार से राशि नही मिल रही है.
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इस सवाल पर कैबिनेट मंत्री विजय चौधरी ने विधायक ललित यादव को जवाब देते हुए कहा कि 70 प्रतिशत वैसे कालेज जो राज्य सरकार के अधीन हैं वो नैक से मान्यता प्राप्त नहीं हैं. कालेज और विश्विद्यालय इसके लिए अपने अपने स्तर से तैयारी कर रहे हैं, साथ ही सरकार भी प्रयास कर रही है.
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क्या होता है नैक
नैक यानी राष्ट्रीय मूल्यांकन एवं प्रत्यायन परिषद के मुताबिक किसी भी शैक्षणिक संस्थानों या संस्थाओं की ‘गुणवत्ता की स्थिति’ को समझने के लिए इसके स्तर को मापा जाता है. इस मूल्यांकन यह पता लगाया जाता है कि कोई भी शैक्षणिक संस्था या विश्वविद्यालय प्रमाणन एजेंसी के जरिए जिन गुणवत्ता के मानकों को निर्धारित किया गया है, वह संस्था या विश्विद्यालय उस पर खरा उतरता भी है या नही.
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किसी संस्थान, विश्विद्यालय या फिर किसी भी महाविद्यालय के नैक का स्तर मापने के लिए उस संस्थान का शैक्षिक प्रक्रियाओं में संस्था का प्रदर्शन, पाठ्यक्रम चयन एवं कार्यान्वयन, शिक्षण अधिगम एवं मूल्यांकन तथा छात्रों के परिणाम, संकाय सदस्यों का अनुसंधान कार्य एवं प्रकाशन, बुनियादी सुविधाएँ तथा संसाधनों की स्थिति, संगठन, प्रशासन व्यवस्था, आर्थिक स्थिति तथा छात्र सेवाएँ आदि का मूल्यांकन किया जाता है.
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