फुटपाथ बनते ही कब्जा शुरू: अतिक्रमण हटाते वक्त टूटे फुटपाथों का करोड़ों की लागत से हो रहा निर्माण
अतिक्रमण कैसे होता है, अगर यह देखना है तो एक बार शहर में बन रहे फुटपाथ घूम आइए। सरकार पैदल चलने वालों के लिए करोड़ों रुपए खर्च कर फुटपाथ बना रही है। यह वही फुटपाथ हैं जो अगस्त में अतिक्रमण हटाते समय क्षतिग्रस्त हो गए थे। बुद्ध मार्ग पर यह काम बहुत तेजी से चल रहा है। 7 दिन के अंदर आधे से अधिक फुटपाथ का निर्माण भी हो चुका है, लेकिन आपको जानकर आश्चर्य होगा कि इस नए फुटपाथ पर अब भी लोग पैदल नहीं चल रहे क्योंकि यहां फिर कब्जे हो गए हैं। यह हाल शहर में 15 जगहों पर बनाए जा रहे हर फुटपाथ का है। ऐसे में बड़ा सवाल यह है कि आखिर अभी कोई इन कब्जा करने वालों को क्यों नहीं रोक रहा।
कब्जे से उबड़-खाबड़ हो जा रहे फुटपाथ
फुटपाथ के कच्चे निर्माण पर ही कब्जा होने से यह उबड़-खाबड़ हो जा रहे हैं। कई जगहों पर तो पेबल ब्लॉक तक टूट जा रहे हैं। ऐसे में वो अधिकारी भी सवालों के घेरे में हैं जिन्हें इस कार्य का निरीक्षण करना है। मौके पर पूछने पर मजदूरों ने बताया कि कोई भी कभी निरीक्षण करने नहीं आता है।
इन फुटपाथ पर कब्जा
- बोरिंग रोड
- भूतनाथ
- पश्चिम दरवाजा
- कंकड़बाग में शालीमार से टेंपो स्टैंड
- गांधीमैदान में पुलिस चौकी से नहर तक
- कुम्हरार
शहर में 52 सड़कों के किनारे बनाए जाने हैं फुटपाथ
शहर में प्रधान मुख्य एवं मुख्य सड़कों के किनारे फुटपाथ निर्माण का कार्य पथ निर्माण विभाग कर रहा है। विभाग ने नगर निगम से शहर में 52 सड़कों के किनारे फुटपाथ बनाने की एनओसी भी ली है। अभी तक तकरीबन 15 फुटपाथ बनकर तैयार भी हो गए हैं, बाकी जल्द तैयार हो जाएंगे। निर्माण के बाद रखरखाव की जिम्मेदारी नगर निगम की है। अगर कोई इस पर अतिक्रमण करता है तो थाना और निगम अंचल ही जिम्मेदार होगा, लेकिन अभी दोनों ही मौन है।
जितनी तेजी से हो रहा निर्माण उतनी ही तेजी से हो रहे कब्जे
शहर में फुटपाथ बनाने का काम तेजी से चल रहा है। अतिक्रमण हटाने के समय क्षतिग्रस्त हुए फुटपाथों को नए सिरे से बनाया जा रहा है। सड़कों के किनारे ही बालू, सीमेंट और पेवल ब्लॉक रख सुबह से काम शुरू हो जाता है। मजदूर जैसे ही 10 फीट आगे बढ़ते हैं, तुरंत कब्जे की लूट मच जाती है। जो पहले दुकान लगाता था, वह अधिकार के साथ कब्जा कर लेता है। इसमें कई जगह कच्चे निर्माण पर कब्जे होने से पेवर ब्लॉक भी धंस जा रहे हैं। चौंकाने वाली बात यह है कि निर्माण का निरीक्षण करने भी कोई नहीं आ रहा।
फुटपाथ पर कब्जे हो रहे हैं इसकी जानकारी स्थानीय थानों को दी जाएगी। पहले कब्जे तोड़े जाएंगे, बाद में एफआईआर करने की कार्रवाई भी की जाएगी।
-सहाब आलम, कार्यपालक अभियंता, नया राजधानी अंचल
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