झारखंड को इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग हब के रूप में भी जाना जायेगा

Smart News Team, Last updated: Sat, 6th Feb 2021, 1:29 PM IST
  • कोल्हान प्रमंडल के अंतर्गत सरायकेला- खरसावां जिला के आदित्यपुर औद्योगिक क्षेत्र मैन्युफैक्चरिंग हब बनेगा. इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर की कुल लागत 186 करोड़ है. इसमें 41.48 करोड़ रुपये केंद्रीय अनुदान, 50 करोड़ का अनुदान जियाडा और 60 करोड़ रुपये का विशेष अनुदान राज्य सरकार ने दिया है.
झारखंड को इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग हब के रूप में भी जाना जायेगा (प्रतीकात्मक तस्वीर)

रांची : मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने हाल ही में कलस्टर में निर्मित आधारभूत संरचनाओं का उद्घाटन कर झारखंड को इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग हब बनाने की दिशा में पहला कदम बढ़ा दिया है. अब वह दिन दूर नहीं, जब खनिज के क्षेत्र में अपनी पहचान स्थापित कर चुके झारखंड को इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग हब के रूप में भी जाना जायेगा. कोल्हान प्रमंडल के अंतर्गत सरायकेला- खरसावां जिला के आदित्यपुर औद्योगिक क्षेत्र मैन्युफैक्चरिंग हब बनने की दिशा में आगे बढ़ रहा है. इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग के क्षेत्र में यह कलस्टर पूर्वी भारत में निवेश का सबसे बड़ा गेटवे साबित होगा. झारखंड सरकार ने जिस उद्देश्य से इस पर काम शुरू किया था, वह उद्देश्य साकार भी हो रहा है.

इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर एक विशेष औद्योगिक पार्क है. इस परियोजना की कुल लागत 186 करोड़ है. इसमें 41.48 करोड़ रुपये केंद्रीय अनुदान, 50 करोड़ का अनुदान जियाडा और 60 करोड़ रुपये का विशेष अनुदान राज्य सरकार ने दिया है. आदित्यपुर औद्योगिक क्षेत्र में 82 एकड़ भूमि पर क्लस्टर का निर्माण हो रहा है. 51 इकाइयों के लिए भूमि उपलब्ध करायी जायेगी. क्लस्टर में फ्लैटेड फस्ट्रोर, टेस्टिंग सेंटर, ट्रेड पवेलियन, ट्रक पार्किंग, वेयर हाउस, स्कूल, शॉपिंग मॉल, हेल्थ सेंटर, हॉस्टल, रेस्टोरेंट, रोड, नाली, स्ट्रीट लाइट समेत अन्य मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध होंगी. इस क्लस्टर में 49 एकड़ भूमि इलेक्ट्रॉनिक उत्पाद बनाने वाले 51 उद्यमियों के लिए आरक्षित है.

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इसके अतिरिक्त 5 एकड़ भूमि में फ्लैटेड फैक्ट्री बनायी गयी है, जिसमें 92 उद्यमियों को प्लग एंड प्ले मोड पर छोटे पैमाने पर इलेक्ट्रॉनिक असेंबली लाइन शुरू करने के लिए आवंटित किया जा रहा है. कुछ उद्यमियों के लिए प्लग एंड प्ले मोड के तहत यूनिट का आवंटन भी हो चुका है. ईएमसी में भूमि की कीमत 90 लाख रुपये प्रति एकड़ है और जियाडा विनियमन के अनुसार, उद्यमियों को भूमि इकाइयों के लिए 50 प्रतिशत रियायत पर दी गयी है. फ्लैटेड फैक्ट्री में तैयार ईकाइयां 15 रुपये प्रति वर्ग फीट की दर पर उपलब्ध कराया जा रहा है. फ्लैटेड फैक्ट्री में इकाइयों का आकार 1200 वर्ग फीट से 2100 वर्ग फीट तक है.

 

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