रांची : ऐसे तो नहीं बन सकेगा क्लीन रांची ग्रीन रांची

Smart News Team, Last updated: Mon, 4th Jan 2021, 7:16 PM IST
  • राजधानी रांची को क्लीन एंड ग्रीन बनाने के प्रयास को नगर निगम की कूड़ा निस्तारण नीति पलीता लगाती नजर आ रही है. हालत यह है कि राजधानी रांची की गली कूचे से निकलने वाला लगभग 100 एमटी कुरेका नगर निगम द्वारा उठा नहीं नहीं हो पा रहा है.
रांची को क्लीन एंड ग्रीन बनाने के प्रयास को नगर निगम की कूड़ा निस्तारण नीति पलीता लगाती नजर आ रही है

रांची : बता दें कि रांची को क्लीन एंड ग्रीन बनाए जाने के लिए नगर निगम की ओर से पिछले 20 सालों से निरंतर प्रयास किया जा रहा है. अपने इस प्रयास में नगर निगम ने हर महीने दो करोड़ रांची को क्लीन एंड ग्रीन बनाने के प्रयास को नगर निगम की कूड़ा निस्तारण नीति पलीता लगाती नजर आ रही है रुपए की औसत से अब तक कुल 240 करोड़ों रुपए खर्च किए हैं. जबकि नगर निगम की ओर से पिछले 15 सालों से सफाई पर ढाई करोड़ रुपए प्रतिमाह की औसत से साल 2015 तक खर्च किए गए. खास बात यह है कि साफ सफाई के नाम से नगर निगम की ओर से क्रय की गई मशीन और संसाधनों पर 120 करोड़ रुपए खर्च किए गए.

मौजूदा समय में स्थिति यह है कि राजधानी रांची से रोजाना तकरीबन 600 मेट्रिक टन कूड़ा निकलता है. जिसको शहर के जरिए स्थित डंपिंग यार्ड में पाया जाता है. जहां पर कूड़ा फेंक वाया जा रहा है इस समय वहां कूड़े के पहाड़ नजर आ रहे हैं. 

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जबकि शहर की गली कूचे से निकलने वाला लगभग 100 मीटर रोजाना कूड़ा का नगर निगम की ओर से उठा नहीं नहीं हो पा रहा है. ऐसी सूरत में इंदौर की तरह ग्रीन व क्लीन बनने का सपना पालने वाले राजधानी रांची के नगर निगम का ऐसे तो क्लीन एवं ग्रीन रांची बनाने का सपना पूरा नहीं हो सकेगा.

 

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