शनि जयंती के दिन 148 साल बाद लग रहा सूर्य ग्रहण, उपाय- बरतें ये सावधानी
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हर वर्ष ज्येष्ठ अमावस्या पर शनि जयंती मनाई जाती है। इस साल 10 जून को शनि जयंती पड़ रही है। लेकिन इस दिन ही साल का पहला सूर्यग्रहण भी पड़ रहा है। अब भक्त संशय में हैं कि कैसे सूर्य ग्रहण के दिन शनि देव की पूजा की जाए और शनि दोषों से मुक्त हो जाए। जानिए कैसे शनि जयंती के दिन पूजा करके व किन उपायों को करने से शनि की साढ़ेसाती व महादशा से मुक्ति मिल सकती है।
मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो 10 जून शनि जयंती के दिन साल का पहला सूर्य ग्रहण लग रहा है। ऐसा योग करीब 148 साल बाद बना है। इससे पहले शनि जयंती के दिन 26 मई 1873 को सूर्यग्रहण लगा था। ऐसे में जानकारों का कहना है कि अहम सावधानियों को बरतें और इस दिन शनि देव की पूजा करें।
शनि जयंती : सूर्य ग्रहण के दिन बरतें ये सावधानी
1. गर्भवती महिला बाहर न निकलें।
2.नाखून कांटना, कंघी करने की मनाही होती है
3.चाकू का इस्तेमाल वर्जित है।
4. इस दौरान नींद न लें।
5. कोई भी मांगलिक कार्य न करें।
शनि जयंती: जरूर करें ये उपाय
1. सूर्य ग्रहण के बाद स्नान अवश्य करें।
2. दान करना शुभ होता है।
3.ग्रहण खत्म होने के बाद गंगाजल छिड़के।
क्या सूर्य ग्रहण के बावजूद शनि पूजा हो सकती है
भक्त इस संशय में हैं कि सूर्यग्रहण के चलते क्या शनि पूजा हो पाएगी या नहीं। तो बता दें सूर्यग्रहण भारत में नहीं दिखेगा और इसका प्रभाव भी नहीं देखने को मिला। इसीलिए विधिवत पूजा की जा सकेगी।
सूर्य ग्रहण का समय व तिथि
10 जून यानी गुरूवार को सूर्य ग्रहण लगने वाला है। जो कि 5 घंटे तक चलेगा।
सूर्य ग्रहण कब होगा शुरू- 1 बज कर 40 मिनट से शुरू
सूर्य ग्रहण कब होगा खत्म- शाम 6 बजकर 48 मिनट पर खत्म हो जाएगा
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