वाराणसीः संत रविदास की मूर्ति स्थापना को लेकर दो पक्षों में विवाद, तनाव का माहौल
- वाराणसी के मिर्जामुराद के खोचवां गांव में संत रविदास की मूर्ति की स्थापना को लेकर दो पक्षों में विवाद बढ़ा. जिसके बाद पुलिस को सूचना दी गई. मौके पर थाना प्रभारी पहुंचे. प्रतिमा के विवाद से गांव में तनाव का माहौल है.
वाराणसी. वाराणसी के मिर्जामुराद इलाके के एक गांव में बुधवार को संत रविदास की प्रतिमा की स्थापना को लेकर दो पक्षों में विवाद हो गया. दरअसल, प्रतिमा के लिए आवंटित भूमि पर प्रतिमा न रखने से विवाद बढ़ गया. जिसके बाद पुलिस को इस मामले की जानकारी दी गई. सूचना मिलते ही थाना प्रभारी मौके पर पहुंच गए. पुलिस को देख प्रतिमा स्थापित करने वाले मूर्ति को छोड़कर भाग खड़े हुए.
ये मामला वाराणसी के मिर्जामुराद के खोचवां गांव का है. गांव में संत रविदास की प्रतिमा की स्थापना के लिए डा. भीमराव अंबेडकर और सत्ती माता प्रतिमा के पास मैदान में जगह दी गई है. बुधवार की शाम को बस्तीवासी उस जगह पर प्रतिमा स्थापित न कर वहीं रहने वाले संजय कुमार की जमीन पर रविदास की मूर्ति स्थापित करने लगे. इससे दोनों पक्षों में विवाद बढ़ गया.
संत रविदास जयंती 27 को, सीर गोवर्धन में अटूट लंगर को जला चूल्हा
विवाद बढ़ता हुआ देखते हुए संजय ने 112 नंबर पर फोन कर दिया. जिसके बाद पीआरवी और थाना प्रभारी सुनीलदत्त दुबे मौके पर पहुंचे. पुलिस को देखकर बस्ती के लोग प्रतिमा को छोड़कर भाग निकले. आपको बता दें कि 27 फरवरी को संत रविदास की जयंती है. काशी के सीर गोवर्धनपुर में होने वाले महोत्सव में शामिल होने के लिए हजारों श्रद्धालु पहुंच रहे हैं.
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महोत्सव में संत रविदास की जयंती से 5-7 दिन अटूट लंगर चलेगा. लंगर के लिए मंगलवार को सीर गोवर्धन के चूल्हे जला दिए गए हैं. अब इस चूल्हे की आग महोत्सव के समापन के बाद ही बुझेगी. पिछली बार की तुलना में इस बार कोरोना की वजह से सेवादारों की संख्या में कमी आई है.
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