वाराणसी: ये प्रिंसिपल कार घर छोड़कर 16 किमी साइकिल से कॉलेज आते-जाते हैं, क्यो?

Smart News Team, Last updated: Fri, 28th Aug 2020, 8:08 PM IST
  • कोरोना महामारी में अपने रहन-सहन में बदलाव करते हुए नेशनल इंटर कालेज पिंडरा के प्रिसिंपल रामाश्रय सिंह 16 किलोमीटर रोज साइकिल चलाकर स्कूल आने-जाने लगे. इस काम से अब वह दूसरों के लिए भी प्रेरणास्त्रोत बन रहे हैं.
नेशनल इंटर कालेज पिंडरा के प्रिसिंपल रामाश्रय सिंह.

वाराणसी. कोरोना वायरस महामारी ने सभी को अलग-अलग तरह से प्रभावित किया है. महामारी का कुछ ऐसा ही प्रभाव नेशनल इंटर कालेज पिंडरा के प्रिसिंपल रामाश्रय सिंह के ऊपर पड़ा है. कभी लग्जरी कार से कॉलेज आने वाले प्रिसिंपल इन दिनों 16 किमी की दूरी साइकिल से प्रतिदिन यात्रा कर नौकरी कर रहे हैं. अब वह दूसरे लोगों के लिए भी प्रेरणास्रोत बन गए हैं. 

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कोरोना महामारी ने लोगों के जीवन जीने व रहन सहन के अंदाज को बदल दिया है. कोई योगा व व्यायाम को अपने दिनचर्या में शामिल कर लिया है तो कोई अपनी पूरी जीवन शैली भी बदल ली. मार्च माह में कोरोना के बढ़ते प्रभाव व महामारी को देखते हुए विशेषज्ञों ने व्यायाम करने व इम्यून सिस्टम को बढ़ाने पर जोर देने के साथ एयरकंडीशन से दूर रहने की सलाह दी. जिसपर रामाश्रय सिंह पहले अपने दिनचर्या में बदलाव किया और व्यायाम के साथ साइकिल से स्कूल आना शुरू किया. डेढ़ लाख रुपए प्रतिमाह वेतन पाने वाले शिक्षक को साईकिल से आते जाते देख कुछ लोगों ने हंसी उड़ाने के साथ प्रश्न भी उठाया और उन्हें इस हठ को छोड़ने की सलाह दी. 

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लेकिन प्रिसिंपल रामाश्रय सिंह अपने नौकरी के अंतिम समय में प्रतिदिन 16 किमी की दूरी तय कर घर से स्कूल आना-जाना नहीं छोड़ा. इस बारे मेंं जब इस कठिन परिश्रम के बारे में उनसे पूछा गया तो उनका जबाव था कि जब इमन्यूटी ही बढ़ाने की बात की जा रही थी तो मुझे कार छोड़ साईकिल से स्कूल आने की प्रेरणा मिली. इस तरह मुझे साइकिल से आते-जाते देख कई लोग भी बाइक छोड़कर साइकिल पर आ गए जो समाज, पर्यावरण, शरीर के लिए आवश्यक है.

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