वाराणसी: डेंगू और मलेरिया से निपटने में जुटे स्वास्थ्य विभाग और नगर निगम

Smart News Team, Last updated: Sun, 1st Nov 2020, 4:08 PM IST
  • शहर में अब तक दो ही डेंगू मरीजों की पुष्टि हुई है. जिसे देखते हुए स्वास्थ्य विभाग और निगम ने इसकी रोकथाम के लिए फागिंग और डेंगू मरीजों के लिए अस्पताल में वार्ड बनाने जैसी व्यवस्थाएं करनी शुरू कर दी गई है.
डेंगू मच्छर

वाराणसी. ठंड का आगाज होते ही डेंगू और मलेरिया के मरीज भी मिलने लगे हैं. जिस कारण स्वास्थ्य विभाग ने नगर निगम के साथ मिलकर इससे निपटने की तैयारियों में जुट गया है. अब तक शहर में डेंगू के सिर्फ दो ही मरीजों पुष्टि हुई है, जबकि शहर में अलग-अलग स्थानों पर पांच से ज्यादा संदिग्ध मरीजों का इलाज चल रहा है, जिनकी एलाइजा रिपोर्ट आनी है. डेंगू के जो संदिग्ध मरीज मिले हैं, उनमें से एक शिवदासपुर और दूसरा पांडेयपुर का निवासी है.

निगम की ओर से पहले से ही संवेदनशील क्षेत्रों की तलाश कर सूची बनाई जा रही है. इसके बाद उन इलाकों में एंटी लार्वा का छिड़काव किया जाएगा. इसके अलावा जिन इलाकों से संदिग्ध मरीज सामने आ रहे हैं, उनका एलाइजा टेस्ट करवाया जा रहा है. स्वास्थ्य विभाग की ओर से अस्पताल में अलग से डेंगू मरीजों के लिए वार्ड की व्यवस्था भी की जा रही है.

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स्वास्थ्य विभाग की ओर से डेंगू और मलेरिया के लिए सैंपल जांच की नि:शुल्क व्यवस्था आईएमएस बीएचयू के माइक्रोबायोलॉजी लैब और दीनदयाल अस्पताल में है। जिला मलेरिया अधिकारी एससी पांडेय ने बताया कि इसमे रैपिड जांच की रिपोर्ट तुरंत आती है, जबकि एलाइजा जांच में दो दिन का समय लगता है। दोनों जगहों पर अब तक करीब 30 सैंपल की जांच हो चुकी हैं। उल्लेखनीय है कि आम तौर पर सितंबर से नवंबर तक वेक्टर जनित रोगों की संभावना अधिक रहती है. अस्पताल पहुंचने वाले ऐसे मरीज, जिन्हें लंबे समय से बुखार और सिरदर्द की समस्या है, उन्हें डॉक्टर डेंगू, मलेरिया की जांच कराने के लिए कह रहे हैं.

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