इस बार डाक से मिल सकेगा मां अन्नपूर्णा देवी का प्रसाद

Smart News Team, Last updated: Mon, 9th Nov 2020, 3:18 PM IST
  • काशी के बाबा विश्वनाथ के मंदिर प्रांगण में प्रतिस्थापित मां अन्नपूर्णा के स्वर्णिम प्रतिमा के स्वरूप का दिव्य दर्शन के लिए तैयारियां पूरी कर ली गई हैं. इस बार कोरोना कॉल को देखते हुए मां अन्नपूर्णाकी ओर से डाक से भी प्रसाद पहुंचाए जाने की व्यवस्था की गई है.
 कोरोना कॉल को देखते हुए मंदिर प्रशासन ने डाक से भी प्रसाद पहुंचाए जाने की व्यवस्था की है

वाराणसी. बता दें कि लगभग 16 वीं शताब्दी से भी प्राचीन मां अन्नपूर्णा की स्वर्णिम मंदिर बाबा विश्वनाथ मंदिर के प्रांगण में है. मंदिर में देवा दी देव महादेव को याचक के रूप में दान करती हुई मां अन्नपूर्णा की स्वर्णिम प्रतिमा का स्वरूप स्थापित है. आगामी 12 नवंबर यानी धनतेरस के दिन से 15 नवंबर तक मां अन्नपूर्णा देवी के इस स्वर्णिम स्वरूप का दर्शन पाने के लिए 15 नवंबर तक मंदिर खोले जाना तय किया गया है. मां के वैभव पूर्व दर्शन पाने के लिए मंदिर में भक्तों की अधिक संख्या का अनुमान लगाते हुए मंदिर प्रशासन की ओर से कोविड-19 से बचाव हेतु तथा सुरक्षा की सारी तैयारियां पूरी की जा रही है. इसके साथ ही कोरोनावायरस वायरस को देखते हुए मंदिर पर दर्शन के लिए ना पहुंचने वाले भक्तों के हितों को भी मंदिर प्रशासन की ओर से ध्यान में रखा गया है.

मंदिर प्रशासन ने इस बार कोरोना काल को गंभीरता से लेते हुए श्रद्धालुओं के लिए डाक से भी प्रसाद मंगाए जाने की व्यवस्था की है. मां अन्नपूर्णा देवी मंदिर के महंत रामेश्वरपुरी ने बताया कि 12 नवंबर की सुबह 4:35 से 5:35 तक महा आरती के बाद आम श्रद्धालुओं के लिए सुबह 6:00 बजे से मंदिर के पट खोल दिए जाएंगे. बताया कि स्वर्णमयी मां अन्नपूर्णा के दर्शन छोटी दिवाली से अन्नकूट तक कि सुबह 4:00 बजे से रात 11:00 बजे तक होंगे. 

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महंत श्री रामेश्वर पुरी ने बताया कि वीआईपी के लिए शाम 5:00 बजे से 7:00 बजे तक दर्शन करने की व्यवस्था की गई है. बताया कि मंदिर आने वाले श्रद्धालु बांस फाटक कोतवालपुरा ढूंढीराज गणेश द्वार होते हुए मंदिर में प्रवेश करेंगे. यहां प्रथम तल पर विराजमान मां अन्नपूर्णा देवी के दर्शन के लिए अस्थाई सीढ़ियों से होकर मंदिर परिसर में पहुंचेंगे. उन्होंने बताया कि पहले दिन दर्शन के लिए आने वाले भक्तों को गेट पर ही माता का खजाना प्रसाद और लावा वितरण किया जाएगा. श्रद्धालुओं को पीछे के रास्ते से राम मंदिर परिसर होते कालका गली से निकाल दिया जाएगा.

उन्होंने बताया कि इस दौरान सुरक्षा की दृष्टि से मंदिर में जगह-जगह स्वयंसेवक तैनात किए जाएंगे तथा थर्मल स्क्रीनिंग वह हैंड सैनिटाइजिंग के बाद शारीरिक दूरी का ख्याल रखते हुए माता के दरबार में 5-5 भक्तों को प्रवेश दिया जाएगा. महंत रामेश्वर पुरी ने बताया कि सुरक्षा की दृष्टि से मंदिर परिसर में लगभग 2 दर्जन से अधिक सीसीटीवी कैमरा भी लगाए गए हैं और आपात चिकित्सा की व्यवस्था की गई है. 

बताया कि वृद्ध और दिव्यांगों के लिए मंदिर प्रशासन ने दर्शन की शुभम व्यवस्था की है. मंत्र रामेश्वर पुरी ने कहा कि इस समय पूरा विश्व कोरोना महामारी से लड़ रहा है. बाबा विश्वनाथ और मां भगवती के आशीर्वाद से व्यवस्थाएं धीरे-धीरे पटरी पर लौटने लगी है फिर भी एहतियात के तौर पर दर्शन से वंचित रहने वाले दर्शनार्थियों के लिए मंदिर प्रशासन ने पोस्टर प्रसाद की व्यवस्था की है. उन्होंने बताया कि मां अन्नपूर्णा देवी के वैभवशाली दर्शन करने की मंदिर प्रशासन की ओर से तेजी से तैयारियां पूरी की जा रही हैं.

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